मनोज मानव की कलम से…”रहने लायक देश बनायें” आप की कलम से On Dec 13, 2021 0 Share मनोज मानव की कलम से… “रहने लायक देश बनायें” छोड़ो जाति, धरम की दुनिया, जोड़ो सबको एक हो जायें, रहने लायक परिवेश बनाकर आओ मिलकर फिर देश बनाये-२ जीवन जीने, कुछ रखने का, कुछ हासिल करने का उद्देश्य बनाये, छोड़ो नक्शा, जोड़ो नक्शा, फिर मिलकर हम एक हो जाये, चलो रहने लायक देश बनाये-२ आग लगे तो, पानी डालें, बाढ़ चले, पतवार बनाये, डूबते हुए को फिर तिनका बन, हाथ बढ़ाकर इन्हें बचाये, चलो रहने लायक देश बनाये-२ माँ-पिता के प्यार का अंकुरण, पंचतत्व, सतरंगी बन जाये, लाल-हरा क्यों? सब रंगो की, होली, मिलकर इसे सजाये, चलो रहने लायक देश बनाये-२ कपड़ों के रूप, बालों के रूप, बहते नौनिहालों के रुधिरों के अश्रु, साजिश के सजने से पहले, घुलकर हम स्वरूपहीन हो जाये, चलो रहने लायक फिर देश बनाये-२ 0 Share FacebookTwitterGoogle+ReddItWhatsAppPinterestEmail