अपराध को लेकर विपक्ष यूपी सरकार पर हावी

एक तरफ उत्तर प्रदेश में अपराधियों के खिलाफ यूपी पुलिस लगातार एक्शन मोड में है, तो वहीं दूसरी तरफ प्रदेश में अपराधियों का हौसला भी लगातार बुंलद होता जा रहा है। पूर्वी यूपी से लेकर पश्चिमी यूपी तक बदमाश लगातार खाकी को चुनौती दे रहा हैं। किडनैपिंग, हत्या और डकैती की वारदातों ने सिस्टम को हिला कर रख दिया है।

सिर्फ 48 घंटों में भीतर हुई तीन वारदातों ने यूपी की कानून व्यवस्था की पोल खोल दी है। बदमाशों ने यूपी की एनकाउंटर करने वाली पुलिस को खुली चुनौती दी है।

गोरखपुर में एक मां के इकलौते बेटे को अपराधियों ने मौत के घाट उतार दिया । 12 साल के एक बच्चे को उस वक्त किडनैप कर लिया गया, जब वो घर से खेलने के लिए निकला था। फिरौती मिलने से पहले ही इसके बेटे की हत्या कर दी गई। हालांकि पुलिस ने 5 आरोपियों का गिरफ्तार कर लिया है।

इस वारदात की शुरुआत रविवार से होती है, जब गोरखपुर के पिपराइच के पास रहने वाले इस परिवार को बच्चे को फिरौती के लिए किडनैप कर लिया गया था। किडनैपर्स ने परिवार से 1 करोड़ की फिरौती मांगी थी। हालांकि फिरौती मिलने से पहले ही बच्चे की हत्या कर दी गई। पुलिस की जांच में गांव के पास ही नाले में मासूम का शव मिला और 5 आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया।

पुलिस ने दावा किया है कि आरोपी मासूम के परिवार को जानने वाले थे। हत्याकांड के खुलासे के बाद सरकार ने आरोपियों पर NSA लगाने का ऐलान किया है। इसक अलावा लापरवाही बरतने पर पर 3 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया गया है।

गोरखपुर में इस वारदात के बाद सियासी पारा भी चढ़ गया। कांग्रेस से लेकर एसपी तक ने सूबे की कानून व्यवस्था को लेकर सरकार को कटघरे में खड़ा कर दिया। कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने ट्वीट किया, ‘क्या यूपी के मुखिया ने खबरें देखना छोड़ दिया है? क्या गृह विभाग में बैठे लोगों के सामने ये खबरें नहीं जाती? यूपी में हर दिन गुंडाराज के नए रिकॉर्ड बन रहे हैं। सीएम के गृहक्षेत्र में अपहरण की घटना घटी है।’

दिल्ली से सटे गाजियाबाद में डकैतों ने आठ महीने के बच्चे को गन पॉइंट पर रख कर लूटपाट की। मामला कविनगर इलाके का है, जहां देर रात बदमाशों ने एक घर में धावा बोल दिया। बताया जा रहा है कि तड़के घर में बदमाश घुसे और सबकों बंधन बना लिया। आरोप है कि बदमाशों ने लोगों को पलंग से बांध दिया और जमकर उत्पात मचाया।

वारदात के बाद बदमाश बड़े आराम से फरार हो गए। परिवार का आरोप है कि स्थानीय पुलिस से शिकायत के बाद भी पुलिस ने बदमाशों को खोजने में सुस्ती दिखाई। हालांकि पुलिस का दावा है कि मामले की जांच से जारी है और जल्द ही इसका खुलासा हो जाएगा।

कानपुर में संजीत यादव की फिरौती देने के बाद भी हत्या कर दी गई। इस मामले ने पुलिस की लापरवाही की मिसाल कायम की है। जहां पुलिस ने खुद ही पीड़ित परिवार को फिरौती की रकम देने के लिए उकसाया था। अब पुलिस इस मामले की जांच कर रही है। पुलिस ने आज उस मकान की जांच की, जहां संजीत यादव को किडनैप करके रखा गया और फिर हत्या की गई थी।

यूपी पुलिस लगातार अपराधियों को रोकने के लिए लगातार एनकाउंटर कर रही है। लेकिन लगातार बढ़ रही क्राइम की इस तरह की घटनाओं ने एनकाउंटर करने वाली पुलिस के इकबाल को तगड़ी चुनौती दे रही है।

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